यदि मकान में बनी है दुकान तो भरना होगा दोहरा टैक्स नगर निगम ने बनाई विशेष योजना

यदि मकान में बनी है दुकान तो भरना होगा दोहरा टैक्स नगर निगम ने बनाई विशेष योजना

तेजवश चौहान तेजस

उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में नगर निगम टैक्स वसूली का एक नया मापदंड तैयार किया है।जिसके तहत नगर निगम पहली बार मिश्रित संपत्ति के लिए अलग टैक्स वसूली की योजना बनाई है।यानी मकान में दुकान चलाने पर अब दोहरा टैक्स अदा करना होगा।इसके लिए निगम ने पूरी तरह से खाका तैयार कर लिया है।इतना ही नहीं शहर में सर्वेक्षण का कार्य भी पूरा कर लिया गया है।जिसके तहत शहर के मकानों में चल रही करीब 35 से 40 हज़ार दुकानें अब टैक्स के दायरे में आ जाएंगी।


गाजियाबाद में तमाम इलाके ऐसे हैं।जहां पर कमर्शियल संपत्ति के अलावा आवासीय संपत्ति यानी मकान में भी दुकानें बनाई हुई हैं। लेकिन अभी तक नगर निगम मकान का ही टैक्स वसूल रहा था।अब नगर निगम के अधिकारियों ने एक विशेष योजना तैयार की है।जिसके तहत मकानों में बनी दुकानों का भी टैक्स वसूला जाएगा। इसके लिए निगम ने बाकायदा पूरी तरह से सर्वे भी पूरा कर लिया है। फिलहाल सर्वे के दौरान 35000 ऐसी दुकानें पाई गई हैं, जो मकानों में चलाई जा रही हैं।इसके अलावा अभी अन्य कई ऐसे इलाके हैं।जहां मकानों में दुकानें बनी हुई हैं और लगातार संचालित हो रही हैं। लेकिन टैक्स के नाम पर केवल मकान का ही टैक्स निगम में जमा किया जाता है। उनके अधिकारियों की मानें तो निगम की इस योजना के बाद से नगर निगम को करीब ₹5 करोड़ रुपये सालाना मिलेंगे।


इस पूरे मामले की जानकारी देते हुए मुख्य कर निर्धारण अधिकारी डॉ संजीव सिन्हा ने बताया कि जिन मकानों में दुकानें बनी हुई हैं।अब उनसे मकान के अलावा दुकान का भी  टैक्स लिया जाएगा। उन्होंने बताया कि टैक्स का निर्धारण एरिया के हिसाब से किया गया है। उदाहरण के तौर पर यदि एक मकान में यदि 4 दुकानें हैं। तो चारों का टैक्स जोड़कर भेजा जाएगा। इसके अलावा यदि मकान मालिक ने दुकानों को बेच दिया है तो अलग-अलग टैक्स का बिल जारी किया जाएगा।इतना ही नहीं जिस मकान में दुकान बनी हैं।उस मकान का टैक्स भी अलग से लिया जाएगा। उन्होंने बताया कि नगर निगम की मिश्रित संपत्ति से हर साल ₹5 करोड़ टैक्स के रूप में निगम को मिलेंगे। इसके लिए बकायदा सर्वेक्षण का कार्य पूरा कर लिया गया है और अगले सप्ताह से नोटिस बांटे जाने का कार्य शुरू कर दिया जाएगा।